باوَر نَکُ جونُم! سراینده: محمد امیری اردکانی |
اصلاً دََ ئی روزَلْ خَوَر از جُور و جَفا نی
| | هیجُیْ وَطَنُمْ جُزْ اَدَب و مِهر و صَفا نی
|
لَفْ خَرْدَن و سَرْریزِ بُدَنْ ظَرْفَلِ اِخْلاصْ
| | اَصْلاً خَوَر از شِیطَنَت و رَنْگ و رِیا نی
|
شِیطونِ توو کِشْوَرْ دَ سَرُشْ خَرْدَنِ سرْ سَنْگْ
| | حَتی یِ قَلَمْ کارِ بَد و زِشْت و زَنا نی
|
کاسِبَلِ ما جُمْلِهْ هِسِنْ مُنْصِف و مُخْلِصْ
| | سرْ لُوْشو بهجُزْ ذِکْر و بهجُزْ یادِ خُدا نی
|
باوَرْ کُ خَریدَمْ که مِشَمْ هِیْ اِ تو گوشُمْ
| | جُزْ حَرفِ خَش وُ ذِکْرَلِ «لاحُولَ وَلا» نی
|
انگیزَهیِ مَسئولَلِ ما عِشْقِن و خِذْمَتْ
| | سَرمایَهْشو جُزْ خِذْمَتِ قِشرِ فُقَرا نی
|
تآسیسِ «سِفارت» اِ سِ تَرویجِ اُصولِنْ
| | جُیْ خُفْتَن وُ گَشْتِنْ پُس و دُفتِلْ سُفَرا نی
|
اَغلِبْ ئی وکیلِلْ مو هِسِنْ فِرز و سُخَنْدونْ
| | بِهْتَرْ اِ ئی مِرْدَلْ دَ خَطیبَالخُطَبا نی
|
اَزْ بَسْکه هِسِنْ ناز و سُخَندونْ و سُخَنرون
| | گُفتارِ خَطیبَمْ دَ اِ مَحْضِرشو رَسا نی
|
بیچارَهْ نِمایَنْدِهیِ ما خوبِن و صَادِق
| | دَرْ فِکْرِ گُذَرْ کِرْدَن و زِیدِنْ خُشِ جا نی
|
اَزْ بَسْکه سَوادُشْ هِن و مَغْزُشْ پُرِ عِلْمِنْ
| | نومُشْ وابُدَنْ دُکتُر و نومُشْ دَ «عَطا» نی
|
یِکْدُورُهْ خُشُشْ وَقْفِ خُدا کِردَن و مَردُمْ
| | دَرْبَنْدِ زَر و زیوَر و دَرْبَنْدِ طلا نی
|
اَزْ بَسْکه دِلُشْ بَسَّنِ فَردایِ قِیامَتْ
| | دَرْبَنْدِ ئی دُنْیا و ئی روزِلْ گُذَرا نی
|
بیچارَهْ اِ مِجْلِسْ اِگَه نیسُشْ گَپْ و گُفتی
| | چون خیلی نَجیبِنْ، اِ تو فِکْرِ خُش و ما نی
|
مِرْدِ عَمَلِنْ دُکْتُرِ و خوشخُلْقِن و خُوشقُولْ
| | حَرْفُشْ بُلُف و اُشْتُلُم و پَرْت و پَلا نی
|
سَرْسَخْتی و سَنگینی و آروم و قَرارُشْ
| | کَمْتَرْ اِ عَلَمْکوه و دَماوَنْد و دَنا نی
|
هِنْ بَخْشِ کَشاوَرْزِیِ ما عالی و بیعِیبْ
| | دَرْگیرِ سِیاستْ غَلَط و اُفْتِ بَها نی
|
پَخْشِنْ اِ توو کِشْوَرْ هَمهجا تُخْمِ عِدالَتْ
| | بیشَکْ دِیَه هَرْگِزْ خَوَر از شاه و گَدا نی
|
دَرْگاهِ قَضاوَتْ دِیَه نی جُیْ زَد و بَنْدَلْ
| | جُیْ تُحْفَه وُ جُیْ رُشوَهْ اِ سرْ میزِ قَضا نی
|
وِجدانِ وَکیلِلْ که هِسِنْ قابِل و لایِقْ
| | اَندازِهیِ یِکْ مُی اِ دِیانُتْشوو جُدا نی
|
اِمْسالْ مِگِنْ نِرْخِ تَورُّم دِیه صِفْرِنْ
| | مِنْبَعْدْ، نُمودارَلِ ما سَربِههَوا نی
|
بانْکَلْ دَ مِدِنْ قَرْضَلِ آسون و فَراوونْ
| | قَرْضِلْشو دَ کَمسودِن و مِصْداقِ رُبا نی
|
خُمْ دوشْنَه مِ خُوْ دی که دُلارْ اَنْدَنِ دومِنْ
| | آذوقَه فَراوونِن و کَمْبودِ غَذا نی
|
آذوقَه وُ نِعْمَتْ وابُدَنْ بَسْکَه فَراوونْ
| | هَرْ خونَه که سَرْ مِیزِه بِهجُزْ شُوق و رِضا نی
|
شُویَل که سَرُمْ مِنْسَمِ گِلْ بَسْکَه هِسَمْ سیر
| | کارِ مُ بِهجُزْ خُرّوپُف و گُرْدَهوِلا نی
|
اُوْضاعِ «سَلامَتْ» که اِ بُنْ خوبِن و عالی
| | اَصلاً خَوَر از سِکْتَه وُ سَنْکوپ و کُما نی
|
اَزْ کارِ طَبیبَلْ چِه بِگَمْ، بَسْکه دَقیقِنْ
| | اَندازَهیِ یِکْ دونِهیِ جُوْ، سَهو و خطا نی
|
اَنْدَنْ کُرونا هَر جا کِه مِرْخِنْ سَگ و خُفّاشْ
| | باور کُ عَزیزُم اِ توو ایرانْ کُرونا نی
|
صَدْ شُکْر که صِیدَمْ دَ گِرُفْتَنْ سَر و سامون
| | حَتی خَور از صِیدِ بُی و دال و قَلا نی
|
صَحْرا و طَبیعَتْ وابُدَنْ بیغَل و بیغَشْ
| | آلودَگی و گَرد و غبارَم اِ فَضا نی
|
هَمْ جَنْگَل و هَم مَرتَعِ ما اَمْنِن و آرومْ
| | حَتی اِ تو جَنگَلْ خَوَر از رازِ بَقا نی
|
اَز بَسْکَه عَلَفْ سُوزِن و پُرْپُشْتِن و تُرتِن
| | بِینِ گَلَهیَلْ کَهْرَهیَ لِزْگ و مَچَرا نی
|
گِرْدِ چَمَنِ وُرْد و بُهونِلْ پُر و پِیمونْ
| | جُز شِهنِهیِ اَسپِلْ کَهَر و مارَهیِ گا نی
|
ثِرْوتْ پُس و دُفْتَلْ دِیَه اَصلاً نًهمَلاکِنْ
| | چونْ بِهْتَرِ عِشْق و هَنَر و شَرْم و حَیا نی
|
بِینِ زِنِه وُ شُیْ دِیَه نی هِی چَکَ و چونَه
| | سَرمایَهشو جُزْ حالِ خَش و عَهْد و وَفا نی
|
بیچارَه زِنَمْ دِلْشِ مُ خَشْ کِردَن و نومُمْ
| | دَرْ حَقِّ مُ کارُشْ دِیَه جُزْ ذِکر و دُعا نی
|
اَزْ بَسْکَه گِرِفتارِن و دَر فِکْرِ عَیالِن
| | دَرْبَنْدِ دَماغ و عَمَل و رَنْگ و حَنا نی
|
عِشْقِ بِچِیِلْ ما کُت و رُیْ عِشْقَلِ پاکِنْ
| | عِشْقِ زَری و نَرْگِس و نَسرین و نِدا نی
|
کُهْ هَمْ که مِشِنْ شَکْ نَکُ بِرْ کِرْدَنِ تِشْشو
| | هَرْگِزْ اِ سِ لُوْ زِیدَنِ بافور و دُوا نی
|
وِرْ مجلِسِ گَرمِ بِچِیِلْ ما دَ ئی روزَلْ
| | حَتّی یِ دَُمونْ سیخ و تَش و حُقّه اِ پا نی
|
باوَر نَکُ جونُم! تو ئی شِعْرَلْ که مِسیتْ گَفْتْ
| | چونْ گُفْتَهیَلُمْ دَرخورِ و دَر شآنِ شُما نی
|
بِستِنْ دَ «امیری» مَزِ هِی گوشَه اِ مَردُمْ
| | چونْ گُفْتَن و زِیدِنْ ئی هَمَیْ گوشَه رَوا نی
|